×

एलएनसीटी में सेमिनार, 'टोबेको ब्रेक्स हार्ट' पर हुआ विमर्श

Location: Bhopal                                                 👤Posted By: Admin                                                                         Views: 1891

Bhopal: विद्यार्थियों और शिक्षकों समेत पूरे स्टाफ को मिला 'चूज़ हेल्थ नॉट टोबेको' का संदेश

31 मई, 2018। 'चूज़ हेल्थ नॉट टोबेके' के संदेश के साथ आज दुनियाभर में वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइज़ेशन के सौजन्य से 'वर्ल्ड नो टोबेके डे' मनाया जा रहा है। तंबाकू के सेवन के खिलाफ और उससे होने वाली बीमारियों के प्रति जागरूकता फैलाने के उद्देश्य के साथ भोपाल के एलएनसीटी समूह ने आज एक विशेष सेमिनार का आयोजन कराया। सेमिनार में मुख्य वक्ता के तौर पर मौजूद जेके हॉस्पिटल के पल्मोनरी मेडिसिन के प्रोफेसर डॉ. रतन वैश ने एलएनसीटी के विद्यार्थियों और शिक्षकों समेत पूरे स्टाफ को तंबाकू सेवन के दुष्परिणामों से अवगत कराया और उन्हें संदेश दिया कि अपने शरीर को तंबाकू के जहर से प्रदूषित न करें। डॉ. रतन ने जानकारी दी कि शोध के मुताबिक, भारत में हर 6 सेकंड में तंबाकू का सेवन करने वाले एक शख्स की मौत होती है और इसके बावजूद जागरूकता के अभाव में और नशे की लत का शिकार होने की वजह से भारत दुनिया में तंबाकू का दूसरा सबसे बड़ा उपभोक्ता बना हुआ है।



अपने संबोधन में डॉ. रतन में इस साल की डब्ल्यूएचओ की थीम 'टोबेके ब्रेक्स हर्ट्स' पर चर्चा करते हुए श्रोताओं को जानकारी दी कि तंबाकू सेवन से हृदय कमजोर होता है और तंबाकू की लत रखने वाले लोगों में हृदय संबंधी रोगों की आशंका अधिक होती है। उन्होंने बताया कि हर साल पूरी दुनिया में करीब 20 लाख लोग कार्डिवोवैस्कुलर बीमारियों से मारे जाते हैं, जिसकी सबसे बड़ी वजह तंबाकू है। डॉ. रतन ने जोर देते हुए कहा कि ज्यादातर लोगों को यह जानकारी ही नहीं होती कि तंबाकू हृदय संबंधी रोगों की सबसे बड़ी वजहों में से एक है और इस संबंध में समाज के सभी तबकों को सचेत करना बेहद जरूरी है। विशेषज्ञों के मुताबिक, अगर हालात ऐसे ही रहे तो 2030 तक हर साल तंबाकू से मरने वालों की संख्या 20 लाख से बढ़कर 80 लाख तक पहुंच जाएगी।

Related News

Latest News

Global News