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विद्यार्थियों की उपस्थिति करें ऑनलाइन - मंत्री दीपक जोशी

Location: Bhopal                                                 👤Posted By: PDD                                                                         Views: 17333

Bhopal: "तकनीकी शिक्षा गुणवत्ता की ओर" पर परिचर्चा में तकनीकी शिक्षा राज्य मंत्री

4 जनवरी 2017, तकनीकी शिक्षण संस्थाओं में विद्यार्थियों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिये इसे ऑनलाइन किया जाये। विद्यार्थियों की उपस्थिति प्रतिदिन वेब पोर्टल पर अपलोड की जाये। इससे विद्यार्थियों और उनके अभिभावकों को नियमित उपस्थिति की जानकारी मिल सकेगी। इस व्यवस्था से परीक्षा फार्म अग्रेषित करते समय होने वाली दिक्कतों से भी निजात मिलेगी। तकनीकी शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार), स्कूल एवं श्रम राज्य मंत्री दीपक जोशी ने यह बात 'तकनीकी शिक्षा गुणवत्ता की ओर' पर परिचर्चा में कही।



श्री जोशी ने कहा कि इंजीनियरिंग पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिये राष्ट्रीय-स्तर पर परीक्षा करवाने का निर्णय केन्द्रीय-स्तर पर लिया गया है। ऐसी स्थिति में राज्य-स्तर पर प्रवेश परीक्षा करवाना उचित नहीं होगा। उन्होंने कहा कि कॉलेज लेवल काउंसलिंग का निर्णय संस्थाओं के हित में लिया गया था, लेकिन इसमें अनियमितताओं की शिकायतें आयीं।



अब नहीं खुलेंगे निजी इंजीनियरिंग कॉलेज



श्री जोशी ने कहा कि प्रदेश में अब नये इंजीनियरिंग कॉलेज खोलने की अनुमति नहीं दी जायेगी। उन्होंने कहा कि निजी इंजीनियरिंग कॉलेज के पदाधिकारियों के साथ हर दो माह में बैठक कर समस्याओं का निराकरण किया जायेगा। राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय को पूरी तरह से ऑनलाइन किया जायेगा। विद्यार्थियों को अब यूनिवर्सिटी आने की जरूरत नहीं पड़ेगी। उन्होंने कहा कि प्रत्येक इंजीनियरिंग कॉलेज में किसी एक खेल का ग्राउण्ड और उससे संबंधित सभी सामग्री उपलब्ध होनी चाहिये। प्रत्येक संस्था में विद्यार्थियों को ज्ञानवर्द्धक एवं नैतिक शिक्षा देने वाली पुस्तकें उपलब्ध होनी चाहिये।



श्री जोशी ने कहा कि संस्थाएँ यह सुनिश्चित करें कि कोई भी विद्यार्थी बगैर हेलमेट और ड्रायविंग लायसेंस के परिसर में प्रवेश नहीं करे। उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों और शिक्षकों को कैशलेस व्यवस्था अपनाने के लिये प्रोत्साहित किया जाये। श्री जोशी ने कहा कि आगामी सत्र से इंजीनियरिंग की परीक्षा हिन्दी में भी लेने की व्यवस्था की गयी है। उन्होंने कहा कि सभी संस्थाओं में हिन्दी माध्यम की पुस्तकें लायब्रेरी में रखवायें।



प्रमुख सचिव तकनीकी शिक्षा श्रीमती कल्पना श्रीवास्तव ने कहा कि तकनीकी शिक्षा से संबंधित एक सेंट्रलाइज्ड पोर्टल बनाया जायेगा। इसमें एडमिशन से लेकर प्लेसमेंट तक की जानकारी उपलब्ध रहेगी। उन्होंने बताया कि तकनीकी शिक्षा पाठ्यक्रम में संशोधन के लिये कमेटी गठित की जायेगी। श्रीमती श्रीवास्तव ने कहा कि गरीब बच्चों को शिक्षा दिलवाना शासन की पहली प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि कॉलेज एक्सीलेंस होगा तभी विद्यार्थी प्रवेश लेंगे।



परिचर्चा में निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों के अध्यक्ष एवं संचालकों ने भी महत्वपूर्ण सुझाव दिये। उन्होंने ज्वाइंट वर्किंग कमेटी बनाने और कॉलेजों को यूनिवर्सिटी चुनने की छूट देने की बात भी कही। इस दौरान अपर सचिव तकनीकी शिक्षा सुनील गुप्ता और संचालक डॉ. वीरेन्द्र कुमार उपस्थित थे।

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