नैक ग्रेडिंग कार्यशाला के समापन सत्र में राज्यपाल श्री टंडन
16 सितम्बर 2019। राज्यपाल श्री लालजी टंडन ने प्रदेश के विश्वविद्यालयों के कुलपतियों से कहा है कि नई शिक्षा नीति के लिए अभी से तैयारी करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि दीर्घकालिक उद्देश्यों के लिये वार्षिक और मासिक लक्ष्य आधारित रोड मेप बनाये। श्री टंडन रविवार देर शाम राज भवन में नैक ग्रेडिंग कार्यशाला के समापन सत्र को संबोधित कर रहे थे। नैक अध्यक्ष प्रोफेसर बी.एस. चौहान भी मौजूद थे।
श्री लालजी टंडन ने कहा कि कुलपति नई शिक्षा व्यवस्था के निर्माता हैं। उन्होंने कहा कि कर्त्तव्यों का पालन अधिकारिता के साथ किया जाये। शोध और रोजगारपरक शिक्षा का उदाहरण प्रस्तुत करें। शैक्षणिक गुणवत्ता, विद्यार्थियों की उपस्थिति, पुस्तकालय और प्रयोगशालाओं की व्यवस्था को बेहतर बनाया जाये। मूलभूत सुविधाओं की उपलब्धता पर फोकस करें। विश्वविद्यालयीन कार्यों को डिजिटल और ऑनलाइन करें। इससे व्यवस्था पारदर्शी बनेगी। कार्य के प्रति जवाबदारी बढ़ेगी। श्री टंडन ने कहा कि वे स्वयं विश्वविद्यालयों में पहुँचकर व्यवस्थाओं की समीक्षा करेंगे।
राज्यपाल ने कहा कि विश्वविद्यालय जो ज्ञान दे रहे हैं, विद्यार्थियों को उसका व्यवहारिक अनुभव भी अध्ययन काल में मिले। उन्होंने कहा कि पहले शिक्षा की अलग-अलग विचारधाराएँ और वाद होते थे। आज केवल राष्ट्रवाद और यथार्थवाद शिक्षा का आधार है। शिक्षा पद्धति में बदलाव का प्रयास नई शिक्षा नीति है । विश्वविद्यालय अपने बल पर आदर्श व्यवस्था निर्मित करें। उनके सहयोग के लिए यू.जी.सी., रूसा और विश्व बैक की परियोजनाएँ उपलब्ध हैं।
राज्यपाल श्री टंडन ने कहा कि प्रथम चरण में विश्वविद्यालय खास बातों पर ध्यान केन्द्रित करें। स्वयं को आत्म-निर्भर बनाएँ। जल का संरक्षण करें। वर्षा ऋतु के पानी के संरक्षण के लिए वॉटर हार्वेस्टिंग कराएँ। श्री टंडन ने कहा कि आज प्रदेश और देश के सामने किसानों की आय दोगुना करने की बड़ी चुनौती है। विश्वविद्यालयों को इसके समाधान के लिये जीरो बजट खेती को गाँवों में लागू करके दिखाना होगा। छात्रों के माध्यम से ग्रामीणों को बिना लागत की खेती के लिए प्रेरित किया जाये।
श्री लालजी टंडन ने कहा कि विश्वविद्यालयों की समस्याओं के निराकरण पर विचार करने के बाद रिक्त पदों की पूर्ति करने का फैसला हो गया है। श्री टंडन ने कहा कि चयन प्रक्रिया पारदर्शी और योग्यता आधारित होगी। श्री टंडन ने कहा कि चयन समिति में नैक का प्रतिनिधि अनिवार्य रूप से होना चाहिए।
सभी विश्वविद्यालय मासिक एवं वार्षिक लक्ष्य आधारित रोड मैप बनाएँ
Place:
Bhopal 👤By: DD Views: 1558
Related News
Latest News
- स्वास्थ्य की जो शिक्षा देते हैं, उसे स्वयं भी अपनाएं" : डॉ. सचिन चित्तावार
- जल जीवन मिशन पर लगाए गए आरोप पाए गए निराधार, मंत्री श्रीमती उइके को क्लीन चिट
- ₹500 करोड़ की अंतरिक्ष उड़ान: निजी मिशन के ज़रिए राष्ट्रीय मिशन की तैयारी
- 🟡 "यूएनओ रिवर्स कार्ड खेल गई सारा!" – कपिल शो में आदित्य रॉय कपूर और सारा अली खान की शादी पर हंसी का धमाका
- अहमदाबाद में स्थापित होगा मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम का कार्यालय : मुख्यमंत्री डॉ. यादव
- दुनिया की सबसे बड़ी FWA सर्विस प्रोवाइडर बनने की राह पर रिलायंस जियो – ICICI Securities
Latest Posts
