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प्रदेश की जेलों में नशेड़ियों पर मेहरबान हैं प्रशासन....

Location: Bhopal                                                 👤Posted By: DD                                                                         Views: 1431

Bhopal: बन्द कैदियों को नशा सप्लाय करने वाले बर्खास्त जेल प्रहरी बहाल
भोपाल 21 नवंबर 2021। जेलों में नशाखोरी आम बात है, वो भी जेल प्रशासन की मदद से। बीते दिनों मप्र की जेलों में बन्द 18 जेल प्रहरी नशे की सामग्री परोसते पकड़ायें, उन्हें बर्खास्त किया तो लेकिन फिर से बहाली का सिलसिला शुरू हो गया। ऐसा लगता हैं कि जेल प्रशासन खुद ही नशे के सौदागरों को प्रमोट करना चाहता है।

प्रदेश की जेलों में बंद कैदियों को चरस, गांजा, जर्दा, बीड़ी, मोबाईल, सप्लाय करने वाले 18 जेल प्रहरी बर्खास्त तो हुये पर इनमें से तीन को बहाल भी कर दिये। दुर्भाग्यजनक तथ्य यह है कि बहाल होने वाले दो प्रहरियों ने गांजा जैसी प्रतिबंधित नशीली वस्तु का सप्लाय किया था।
राज्य के जेल विभाग से मिली अधिकृत जानकारी के अनुसार, पिछले तीन सालों में जेल के कैदियों को सब जेल गरोठ के प्रहरी हरेन्द्र सिंह यादव को 264 नग 30 नंबर बीड़ी के बंडल एवं 130 नग हाथी छाप तम्बाकू पुडिय़ा के सप्लाय में, जिला जेल मंदसौर के प्रहरी राकेश डाबर को 264 नग 30 नंबर बीड़ी के बंडल एवं 130 नग हाथी छाप तम्बाकू पुडिय़ा के सप्लाय में, केंद्रीय जेल उज्जैन के प्रहरी अमित कुमार जाट को 77 नग हाथी छाप तंबाकू की पुडिय़ा के सप्लाय में तथा इसी जेल के मुख्य प्रहरी अनिल राव सिंगारे को 20 ग्राम तंबाकू के सप्लाय में, केंद्रीय जेल बड़वानी के प्रहरी हरेन्द्र सिंह सिकरवार को गांजे की 4 नग पुडिय़ा के सप्लाय में, जिला जेल रतलाम के प्रहरी धर्मेन्द्र धाकड़ को कैदियों को मोबाईल उपलब्ध कराने पर, जिला जेल नीमच के प्रहरी बाल मुकुन्द लबाना, प्रहरी विजेन्द्र धाकड़, प्रहरी पंकित शर्मा एवं प्रहरी ईश्वरचंद रामपुरी को जेल में मोबाईल उपलब्ध कराने जिससे कैदी फरार हुआ, केंद्रीय जेल रीवा के प्रहरी अयोध्या प्रसाद रावत को जेल में दंडित कैदी रविनंदन सिंह को मोबाईल फोन उपलब्ध कराने पर, केंद्रीय जेल नरसिंहपुर में प्रहरी नंदलाल सिंह भदौरिया द्वारा बंदी को बाहर से 800 रुपये उपलब्ध कराने, केंद्रीय जेल भोपाल के प्रहरी रामनरेश सिकरवार और प्रहरी राजेन्द्र रघुवंशी द्वारा जेल के अंदर कैदियों को नशीला पदार्थ गांजा उपलब्ध कराने, इसी केंद्रीय जेल भोपाल के प्रहरी दिलीप पाटिल को 4 पैकेट कमल किशोर जर्दा, मिराज जर्दा के तीन पाउच एवं एक नग बीड़ी का बंडल उपलब्ध कराने पर, केंद्रीय जेल भोपाल के प्रहरी गौरीशंकर उईके को 4 पैकेट कमल किशोर जर्दा एवं 1 नग बना हुआ गुटका एवं 1 नग राजश्री उपलब्ध कराने पर, केंद्रीय जेल भोपाल के प्रहरी देवेन्द्र शर्मा को 5 ग्राम चरस उपलब्ध कराने पर तथा केंद्रीय जेल भोपाल के प्रहरी भीकम नाथ को 4 पैकेट कमल किशोर जर्दा उपलब्ध कराने पर सेवा से बर्खास्त किया गया था।
इन तीन को सेवा में बहाल किया :
बर्खास्त हुये तीन जेल प्रहरियों को सेवा में भी बहाल भी कर दिया गया। बहाली भी जेल मुख्यालय से न होकर मंत्रालय वल्लभ भवन से की गई। इनमें केंद्रीय जेल के प्रहरी रामनरेश सिकरवार को तीन वार्षिक वेतवृध्दि रोकने और प्रहरी राजेन्द्र रघुवंशी को दो वार्षिक वेतनवृध्दि रोकने का दण्ड देकर सेवा में बहाल किया गया जबकि दोनों ने जेल के अंदर गांजे का सप्लाय की थी। इसी प्रकार, केंद्रीय जेल रीवा के प्रहरी अयोध्या प्रसाद रावत को भी दो वार्षिक वेतन वृध्दि रोकने का दण्ड देकर सेवा में बहाल कर दिया गया जबकि उस पर दंडित कैदी को मोबाईल फोन उपलब्ध कराया गया था।
भोपाल के एक केंद्रीय जेल अधिकारी ने बताया कि हमने अपनी शक्तियों के तहत तो गंभीर अनियमितता पर दो प्रहरियों को सेवा से बर्खास्त किया लेकिन शासन स्तर पर इन्हें वार्षिक वेतनवृध्दि रोककर बहाल कर दिया गया। यह विभिन्न स्तरों पर बने अपीलीय व्यवस्था के कारण है।


डॉ. नवीन जोशी

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