Bhopal: निजी कंपनी का लायसेंस एक साल के लिये निलम्बित
23 जून 2020। प्रदेश की मंडला नगर पालिका में पाईप घोटाला सामने आने पर एक निजी कंपनी का रजिस्ट्रेशन एक साल के लिये निलम्बित कर दिया गया है।
नगरीय प्रशासन विभाग के प्रमुख अभियंता एनपी मालवीय ने इस संबंध में जारी आदेश में कहा है कि नगर पालिका मंडला की मुख्यमंत्री शहरी पेयजल योजनान्तर्गत स्वीकृत जलप्रदाय योजना के घटक कार्यों एवं अतिरिक्त 27 किमी जल वितरण नलिकायें विस्तार कार्य के क्रियान्वयन का कार्य इस निजी कंपनी को दिया गया था। क्रियान्वित पाईप लाईन विस्तार की गुणवत्ता की जांच संभागीय कार्यपालन यंत्री नगरीय प्रशासन सागर संभाग द्वारा की गई। जांच में पाया गया कि वार्ड क्रमांक 24 दादा धनीराम में जल वितरण नलिकायें घटक का कार्य के अंतर्गत पाईप लाईन को मानक स्तर की गहराई पर नहीं बिछाई गई है तथा उक्त पाईप लाईन के नीचे बेडिंग का कार्य नहीं किया गया है। इसके अलावा 27 किमी जल वितरण पाईप लाईन में भी वार्ड क्रमांक 1, 9, 11, 17, 18, 19 एवं 20 में कुछ स्थानों पर पाईप लाईन कम गहराई पर बिछाया जाना पाया गया है। इसी प्रकार, जल वितरण नलिकायें कार्य के अंतर्गत कुल क्रय किये गये 23 हजार 766 मीटर एचडीपीई पाईप में से 2 हजार 174 मीटर पाईप मौके पर कम पाया गया तथा क्रय किये गये पाईपों में 5 हजार 60 मीटर पाईपों का उचित तरीके से भण्डारण न करने से गुणवत्ता खराब होने की स्थिति में पहुंच चुकी है। इस पर निजी कंपनी को शो कॉज नोटिस जारी किया गया परन्तु उसने
संतोषजनक जवाब नहीं दिया।
प्रमुख अभियंता ने अपने आदेश में कहा है कि शासन की जनहित की योजना के लिये प्रावधानित राशि का समुचित उपयोग नहीं हो सका जिसके कारण शासन की छबि पर विपरीत प्रभाव पड़ा है। इसलिये निजी कंपनी मेसर्स गोंडवाना इंजीनियर्स लिमिटेड नागपुर का रजिस्ट्रेशन एक साल के लिये निलम्बित किया जाता है।
- डॉ. नवीन जोशी
मंडला नगर पालिका में पाईप घोटाला
Location:
Bhopal
👤Posted By: DD
Views: 927
Related News
Latest News
- मप्र: राज्य ई-कैबिनेट शुरू करने के लिए तैयार; मंत्रियों को एजेंडा ऑनलाइन प्राप्त होगा
- क्या नींबू पानी किडनी के लिए अच्छा है?
- हिंदू विवाह एक 'संस्कार' और एक संस्कार; 'गीत और नृत्य', 'वाइनिंग और डाइनिंग' या वाणिज्यिक लेनदेन के लिए कोई कार्यक्रम नहीं: सुप्रीम कोर्ट
- सड़क किनारे के ठंडे जूस और पेय 'कूल' नहीं, डायरिया, पीलिया, पेचिश के मामले बढ़ रहे
- सरकार डॉक्टरों के लिए एक समान फीस कैसे तय कर सकती है? क्या होगा अगर सरकार वकीलों के लिए एक समान फीस तय कर दे? : सुप्रीम कोर्ट