
26 जुलाई 2025। प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना (PMJJBY) में करोड़ों का फर्जीवाड़ा उजागर हुआ है। ग्वालियर, मुरैना और भिंड जिलों में जीवित व्यक्तियों को मृत और मृतकों को जीवित दिखाकर बीमा राशि हड़पने की संगठित साजिश का खुलासा हुआ है। आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ (EOW) ने इस मामले में एसबीआई लाइफ और मैक्स लाइफ इंश्योरेंस के कर्मचारियों, बीमा एजेंटों और पंचायत सचिवों समेत कुल 13 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
कैसे हुआ फर्जीवाड़ा?
जांच में सामने आया कि फर्जीवाड़े में शामिल गिरोह ने जीवित लोगों के फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र नगर निगम कर्मियों की मिलीभगत से बनवाए। इसके बाद बीमा राशि के लिए फर्जी क्लेम प्रस्तुत कर लाखों रुपये हड़प लिए। वहीं मृत व्यक्तियों को पहले जीवित दिखाया गया और फिर दोबारा मृत बताकर बीमा राशि का क्लेम किया गया।
दीपमाला मिश्रा मुख्य साजिशकर्ता
ग्वालियर में इस घोटाले की मास्टरमाइंड दीपमाला मिश्रा बताई जा रही है, जो मैक्स लाइफ इंश्योरेंस की पूर्व कर्मचारी और पेशे से वकील है। वह "एंटी करप्शन फाउंडेशन ऑफ वर्ल्ड" नामक संस्था भी चलाती है। इसी संस्था की आड़ में लोगों से दस्तावेज जुटाए गए और उनका गलत इस्तेमाल किया गया।
गांव स्तर तक फैला नेटवर्क
ईओडब्ल्यू की शुरुआती जांच में मुरैना और भिंड के पंचायत सचिवों की संलिप्तता भी सामने आई है। वे मृत व्यक्तियों की सूची और दस्तावेज इस गिरोह को उपलब्ध कराते थे। अब तक तीन अलग-अलग एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं और 15 से ज्यादा मामलों में फर्जीवाड़े की पुष्टि हुई है।
EOW का बयान
ईओडब्ल्यू एसपी दिलीप सिंह तोमर ने कहा, "ग्वालियर, मुरैना और भिंड में पीएम जीवन ज्योति बीमा योजना के तहत घोटाले की पुष्टि हुई है। अभी तक तीन एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं, लेकिन आगे और भी मामलों में कार्रवाई की जाएगी।"
यह मामला न सिर्फ सरकारी बीमा योजनाओं की निगरानी व्यवस्था पर सवाल खड़ा करता है, बल्कि स्थानीय स्तर पर भ्रष्टाचार और मिलीभगत की भयावह तस्वीर भी सामने लाता है। EOW की जांच जारी है और आने वाले दिनों में और गिरफ्तारियां हो सकती हैं।