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विधानसभा की IT निविदा प्रक्रिया पर उठे सवाल, पूर्व NIC अधिकारियों की भूमिका से ‘हितों के टकराव’ का आरोप

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Place: भोपाल                                                👤By: prativad                                                                Views: 190

15 अक्टूबर 2025। मध्य प्रदेश विधानसभा में आईटी अवसंरचना के विस्तार और नेवा (NeVA) परियोजना के कार्यान्वयन के लिए जारी निविदा (टेंडर) प्रक्रिया पर अब सवाल खड़े हो गए हैं। एक खोजी पत्रकार ने विधानसभा सचिवालय को भेजे पत्र में इस पूरी प्रक्रिया की पारदर्शिता पर गंभीर शंका जताई है, दावा करते हुए कि इसमें ‘हितों का टकराव’ (Conflict of Interest) की स्थिति उत्पन्न हुई है।

पत्र के अनुसार, निविदा में भाग लेने वाली कंपनी ऑब्जेक्ट टेक्नोलॉजी सॉल्यूशंस इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (OTSI) से दो ऐसे वरिष्ठ अधिकारी जुड़े हैं जो पहले राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र (NIC) में उच्च पदों पर रहे हैं — श्री रवि विजयवर्गीय (पूर्व नेटवर्क सुरक्षा प्रमुख व CISO, NIC) और डॉ. बी. एन. शेट्टी (पूर्व उप महानिदेशक, NIC)।

पत्र में कहा गया है कि दोनों अधिकारियों ने लंबे समय तक एनआईसी में कार्य किया है और वर्तमान में ओटीएसआई के साथ ‘रणनीतिक’ भूमिकाओं में जुड़े हुए हैं। ऐसे में यह संबंध निविदा के उस खंड का संभावित उल्लंघन दर्शाता है, जिसमें स्पष्ट रूप से कहा गया है कि बोलीकर्ता या उसके सहयोगी का किसी ऐसे सरकारी अधिकारी से निकट व्यावसायिक या पारिवारिक संबंध नहीं होना चाहिए जो निविदा दस्तावेज़, मूल्यांकन या अनुबंध के कार्यान्वयन में शामिल रहा हो।

पत्र में विधानसभा से आग्रह किया गया है कि इन परिस्थितियों की स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच कराई जाए, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि निविदा प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और नियमों के अनुरूप चल रही है। साथ ही, यदि आरोप सही पाए जाते हैं, तो संबंधित पक्षों के खिलाफ अर्हता समाप्त (disqualification) या recusal जैसी कार्रवाई की जाए।

पत्र में यह भी कहा गया है कि यदि इस विसंगति को समय पर नहीं सुलझाया गया, तो यह न केवल विधानसभा की खरीद प्रक्रिया की साख को प्रभावित करेगा बल्कि जनता के विश्वास को भी नुकसान पहुंचाएगा।

इस पूरे प्रकरण पर विधानसभा सचिवालय की ओर से फिलहाल कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है।

- राजेश चतुर्वेदी

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