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?️ सिविल सेवा जनसेवा का सशक्त माध्यम: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सिविल सर्विस डे पर लोकसेवकों को किया सम्मानित

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Place: भोपाल                                                👤By: prativad                                                                Views: 938

? भोपाल | 21 अप्रैल 2025 |

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने राष्ट्रीय सिविल सेवा दिवस 2025 के अवसर पर कहा कि सिविल सेवा केवल एक नौकरी नहीं, बल्कि जनसेवा का प्रभावी और नैतिक माध्यम है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक लोकसेवक का धर्म होना चाहिए कि वह अपने कर्तव्यों के प्रति समर्पित रहे और अपने अधिकारों का दायित्वपूर्वक उपयोग करे।

मुख्यमंत्री नरोन्हा प्रशासन एवं प्रबंधकीय अकादमी के स्वर्ण जयंती सभागार में आयोजित राज्य स्तरीय समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर राज्य के 16 उत्कृष्ट लोकसेवकों को 'मुख्यमंत्री उत्कृष्टता पुरस्कार' से सम्मानित किया गया। पुरस्कार में ₹1 लाख की नकद राशि और प्रशस्ति-पत्र प्रदान किया गया।

?️ 16 लोकसेवकों को नवाचारों के लिए 'मुख्यमंत्री उत्कृष्टता पुरस्कार'
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक संवेदनशील और जागरूक सिविल सेवक शासन के नियमों का पालन करते हुए जनता की समस्याओं को गहराई से समझे और उनका व्यावहारिक समाधान सुनिश्चित करे। उन्होंने लोकसेवकों से पारदर्शिता, जवाबदेही और जनकल्याण को सर्वोच्च प्राथमिकता देने का आह्वान किया।

सम्मानित अधिकारी:
माधव प्रसाद पटेल, श्रीमती अदिति गर्ग, डॉ. इंदिरा दांगी, श्रीमती शारदा डुडवे, आलोक पौराणिक, चंद्रमोहन ठाकुर, डॉ. यशपाल सिंह, संजय जोशी, अमित तोमर, श्री ऋषव गुप्ता, श्री गणेश शंकर मिश्रा, दिव्यांक सिंह, प्रवीण सिंह अढायच, प्रो. बेला सचदेवा, भूपेंद्र कुमार चौधरी, सुश्री शीला दाहिमा।

?️ "लोक प्रशासन का मूल मंत्र – लोगों की हरसंभव तरीके से सेवा": मुख्यमंत्री डॉ. यादव
मुख्यमंत्री ने सिविल सेवा दिवस पर अपने उद्बोधन में कहा:

"लोक प्रशासन केवल प्रक्रिया नहीं, यह जनभागीदारी से प्रेरित, जनकल्याण के लिए समर्पित तंत्र है। इसमें 'डिग्निटी, इंटीग्रिटी और इंकरप्टिबिलिटी' को जीवन का मंत्र मानना होगा।"

उन्होंने चाणक्य और सरदार वल्लभ भाई पटेल का उल्लेख करते हुए कहा कि चाणक्य की प्रशासनिक दूरदृष्टि और पटेल के सेवा सिद्धांत आज भी सिविल सेवा के लिए मार्गदर्शक हैं।

? विकसित भारत@2047 में मध्यप्रदेश की महत्त्वपूर्ण भूमिका: मुख्य सचिव अनुराग जैन
मुख्य सचिव श्री अनुराग जैन ने कहा कि 21 अप्रैल केवल समारोह नहीं, बल्कि आत्ममंथन का दिन है। लोकसेवकों को हर वर्ष यह सोचना चाहिए कि वे प्रशासन को और अधिक प्रभावी बनाने में क्या योगदान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश के अधिकारी 'Ease of Doing Business' और 'Ease of Living' को लेकर मिशन मोड में कार्य कर रहे हैं, और विकसित भारत के निर्माण में प्रदेश अग्रणी भूमिका निभाएगा।

? नरोन्हा व्याख्यान श्रृंखला में डॉ. दीपक बागला का प्रेरणादायी संबोधन
कार्यक्रम के अंतर्गत नरोन्हा व्याख्यान श्रृंखला का आयोजन भी किया गया, जिसमें देश के प्रतिष्ठित प्रशासनिक अधिकारियों ने भाग लिया। डॉ. दीपक बागला ने अपने वक्तव्य में सुशासन, नवाचार और जिम्मेदारीपूर्ण नेतृत्व पर विचार साझा किए।

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