9 दिसंबर 2025। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमीर ज़ेलेंस्की से कहा है कि अब शांति प्रस्तावों को गंभीरता से लेना चाहिए, क्योंकि मौजूदा हालात में रूस की पकड़ ज्यादा मजबूत है और यूक्रेन के सैन्य जीतने की संभावना लगभग न के बराबर है।
पोलिटिको को दिए इंटरव्यू में ट्रंप ने साफ कहा कि रूस "बहुत बड़ा देश" है और इस लड़ाई में "हावी हाथ" उसी का है। उनके मुताबिक, लंबे समय में आकार और संसाधन ही फ़ैसला करते हैं।
ट्रंप ने दावा किया कि ज़ेलेंस्की ने अभी तक अमेरिका की नई शांति योजना का ताज़ा ड्राफ्ट देखा भी नहीं, जबकि उनके कई शीर्ष अधिकारी इसे “ठीक” मानते हैं। ट्रंप का तर्क है कि जितनी जल्दी बातचीत आगे बढ़ेगी, उतनी जल्दी लोगों की जान बचेगी।
उनकी सीधी टिप्पणी: “ज़ेलेंस्की को आगे आना होगा। वह इस वक्त हार रहे हैं।”
उन्होंने यह भी कहा कि यूक्रेन को अब चुनाव कराने चाहिए, क्योंकि बहुत समय बीत चुका है। ट्रंप ने सवाल उठाया कि अगर चुनाव ही नहीं होंगे, तो फिर लोकतंत्र की बात कैसी।
पिछले महीने उनका 28-पॉइंट वाला प्रारंभिक शांति प्लान लीक हुआ था, जिसमें यूक्रेन से डोनबास से सेना हटाने, नाटो में शामिल न होने और सैन्य क्षमता सीमित करने जैसे बिंदु थे। कीव ने इसे तुरंत ठुकरा दिया। बाद में इस प्लान में रूस और यूक्रेन—दोनों के सुझाव जोड़कर बदलाव किए गए, लेकिन ट्रंप का कहना है कि ज़ेलेंस्की फिर भी नए ड्राफ्ट को पढ़ने से बच रहे हैं।
दूसरी ओर, ज़ेलेंस्की बार-बार यह साफ कर चुके हैं कि यूक्रेन अपने पुराने इलाकों को छोड़ने वाला नहीं है और देश “एक सम्मानजनक शांति” का हकदार है।
रूस ने ट्रंप की पहल का स्वागत किया है, लेकिन अपनी मांगों पर टिका हुआ है—कीव नई सीमाओं को स्वीकार करे और सैन्य व राजनीतिक न्यूट्रैलिटी पर सहमत हो।














